गया सेंट्रल जेल में बंदी का मोबाइल से बात करते वीडियो वायरल हो रहा है। इस तरह का वीडियो वायरल का मामला गया एसएसपी के पास पहुंचा। एसएसपी आशीष भारती ने मामले की जांच कर कार्रवाई की बात कही है। गौरतलब हो, कि गया सेंट्रल जेल में मोबाइल से फोन कर धमकी देने के मामले आते रहे हैं,लेकिन जिला पुलिस और प्रशासन की छापेमारी में कोई मोबाइल बरामद नहीं हो पाती है। ऐसे में कहीं न कहीं कहा जा सकता है, कि जेल प्रशासन को जिला पुलिस- प्रशासन के छापेमारी की भनक पहले ही लग जाती है। ऐसे में जेल में छापेमारी की कार्रवाई पर भी सवाल खड़े होने लगे हैं।
गया सेंट्रल जेल में मोबाइल से बात करते बंदियों का वीडियो वायरल हो रहा है।वायरल वीडियो में दो बंदी मोबाइल से बात करते दिख रहे हैं।बड़ी बात यह है, कि जहां जेल प्रशासन दावा करता है, कि गया सेंट्रल जेल के अंदर सब कुछ सही है, लेकिन मोबाइल फोन से बात करते बंदियों का वीडियो वायरल सामने आने के बाद जेेल प्रशासन की भूमिका संदिग्ध मानी जा रही है। वायरल वीडियो में स्पष्ट देखा जा सकता है, कि दो लोग मोबाइल पर बात करते हुए दिख रहे हैं, जिसमें एक बंदी ब्रश करते हुए मोबाइल से बात कर रहा है, तो उसके पीछे रहा बंदी खड़ा होकर बात कर रहा है। मोबाइल से बात करते इन बंदियों का वीडियो वायरल हो गया है। वायरल वीडियो में दिख रहा शख्स अमरजीत टाइगर बताया जाता है, जो कि फिलहाल गया सेंट्रल जेल के वार्ड में बंद है।
गया सेन्ट्रल जेल से टिकारी एसडीएम सुुजीत कुमार और पटना के व्यवसाई को धमकी मिल चुकी है।ऐसे में पहले से ही गया सेंट्रल जेल का प्रशासन कटघरे में है। बता दे, कि गया सेंट्रल जेल के जेल अधीक्षक और जेलर राजेश कुमार सिंह को पूर्व में जिला प्रशासन के द्वारा चेताया गया है।गया सेंट्रल जेल में काफी संवेदनशील है।क्योंकि यहां कुख्यात अपराधी और नक्सली बंदी है। इस तरह गया सेन्ट्रल जेल से मोबाइल के उपयोग की शिकायत पहले से भी रही है।
सूू्त्रों से मिली जानकारी के अनुसार जिला प्रशासन ने गया जेल प्रशासन और जेलर को पहले भी चेताया है।गया जेल के जेलर राजेश कुमार सिंह को यहां से स्थानांतरण की बात मुख्यालय को लिखी जा चुकी है।मुख्यालय को लिखा जा गया है, कि गया सेंट्रल जेल में जुलाई महीने से आए जेलर राजेश कुमार सिंह की भूमिका संदिग्ध है, जिसे लेकर उन्हें गया जेल से स्थानांतरित किया जाए।वहीं जेल अधीक्षक को भी चेताया गया है। इसके बीच गया सेंट्रल जेल में बंदियों का वीडियो वायरल होने पर एक बार फिर से जेल प्रशासन की कार्यशैली कटघरे में है। वहीं, जिला प्रशासन द्वारा भी मुख्यालय को पत्र लिखकर जेलर की भूमिका के संदिग्ध होने पर मुहर लगा चुकी है।
इस संबंध में गया एसएसपी आशीष भारती ने बताया कि इस तरह की शिकायत पहले भी आई थी, जिसके बाद हम लोगों के स्तर से विभाग को लिखा जा चुका है. एक बार फिर से इस तरह का मामला सामने आया है. मामले की जांच कर कार्रवाई की जाएगी